हूँ नहीं मैं अकबर, आपके लिये ख़ास महल बनाने के लिए
नाही कोई शाहजहान, ताज महल बनाने के लिए
पर मैं भी कोई शहनशाह से कम नहीं
बनाऊंगा हसीन महल एक दिल और ख्वाब में, सिर्फ आपके लिए
नाही कोई शाहजहान, ताज महल बनाने के लिए
पर मैं भी कोई शहनशाह से कम नहीं
बनाऊंगा हसीन महल एक दिल और ख्वाब में, सिर्फ आपके लिए
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